भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने UPI का उपयोग करके भुगतान करने के लिए लेनदेन पर अपडेट दिया है। उन्होंने कहा कि यूपीआई से लेनदेन में साल में 50 फीसदी का उछाल आया है। यह संख्या अब बढ़कर 36 करोड़ हो गई है। फरवरी 2022 में यह 24 करोड़ थी। आरबीआई हेड ऑफिस में डिजिटल पेमेंट अवेयरनेस वीक का उद्घाटन करते हुए शक्तिकांत दास ने कहा कि मूल्य के आधार पर यह लेनदेन 6.27 लाख करोड़ रुपये का है।
आंकड़ा 1000 करोड़ को पार कर गया
यह आंकड़ा फरवरी 2022 में दर्ज 5.36 लाख करोड़ रुपये से 17 प्रतिशत अधिक है। उन्होंने कहा कि मासिक डिजिटल भुगतान लेनदेन पिछले 3 महीनों से हर बार 1000 करोड़ रुपये के आंकड़े को पार कर रहा है। आरबीआई गवर्नर ने कहा कि यूपीआई और सिंगापुर के पे-नाउ के बीच समझौते के बाद से अन्य देशों ने भी भुगतान के समझौते में रुचि दिखाई है।
यूपीआई-पे नाउ समझौते को हुआ 10 दिन
गवर्नर ने कहा कि कम से कम आधा दर्जन देश समझौते पर हस्ताक्षर करेंगे। दास ने कहा कि यूपीआई-पे नाउ समझौते को 10 दिन हो चुके हैं। इस समय, सिंगापुर से रुपये भेजने के लिए 120 लेनदेन और सिंगापुर रुपये भेजने के लिए 22 लेनदेन हुए हैं। दास ने कहा कि हमने अपनी भुगतान प्रणाली के अंतरराष्ट्रीयकरण और भारत-सिंगापुर त्वरित भुगतान प्रणाली को सीमा पार से जोड़ने के लिए कई कदम उठाए हैं।
UPI से पैसे कैसे ट्रांसफर करें
यूपीआई एक डिजिटल मनी ट्रांसफर टूल है। इसे पैसे के लेन-देन की सुविधा के लिए डिजिटल इंडिया अभियान के तहत लॉन्च किया गया था। UPI से आप सेकंड में एक खाते से दूसरे खाते में पैसे भेज सकते हैं। UPI की मदद से दो पार्टियां एक दूसरे को मोबाइल प्लेटफॉर्म पर डिजिटल रूप से पैसे भेज सकती हैं। यह ट्रांजैक्शन पूरी तरह से सेफ है। पैसा दो पक्षों के बीच, एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति या एक व्यक्ति से व्यापारी के बीच भी स्थानांतरित किया जा सकता है। किसी भी यूपीआई में बैंक खाता जोड़ने के लिए आपके बैंक के पास यूपीआई सुविधा होनी चाहिए और आपके फोन पर यूपीआई ऐप होने से यह काम आसान हो जाता है।