दुनिया की सर्वाधिक प्राचीन चिकित्सा पद्धति आयुर्वेद की भी मान्यता है कि शरीर ही धर्म का पहला साधन हैं इस दृष्टि से देखा जाये तो हम भोजन करने से पूर्व कुछ बातों पर ध्यान देकर अपने स्वास्थ्य को और बेहतर बना सकते हैं।
खाना खाने का सही तरीका
1)लोगों को इत्मीनान से खूब चबा-चबाकर भोजन करना चाहिए। इससे भोजन आसानी से पच जाता है।
2)जब पेट में अधिक भारीपन महसूस हो, उस समय भोजन करने से हाजमें के बिगड़ने की संभावना रहती है। भूख लगने पर ही भोजन करें।
3)अधिक प्यास लगने की स्थिति में भोजन नहीं करना चाहिए। यानी पानी पी चुकने के बाद कम से कम 20 मिनट तक भोजन नहीं करना चाहिए।
4)भोजन करते समय प्रसन्न मन रहें। क्रोध, चिंता व उत्तेजना की स्थिति में भोजन शरीर में अच्छी तरह जज्ब नहीं होता।
5)दौड़-धूप करने के बाद तत्काल भोजन न ग्रहण करें।
6)कुदरती आवेगों (मल-मूत्र) को त्यागने के बाद भोजन करना हितकर है।
7)नींद आने की स्थिति में भोजन न करें, क्योंकि इससे आमाशय पर अतिरिक्त दबाव पड़ता हैं।
8)व्यायाम करने के तुरंत बाद भोजन न करें।
याद रखें, भूख से कुछ कम भोजन करना स्वास्थ्य के लिए हितकर है।भोजन करने के 45 मिनट बाद अच्छी तरह पानी पीना उत्तम है। भोजन ग्रहण करने के बाद आधे गिलास से ज्यादा पानी न पियें, क्योंकि ज्यादा पानी पीने से आमाशय के पाचक रस समुचित रूप से सक्रिय नहीं हो पाते।